शनिदेव द्वारा स्वयं बताए गए उपायों को करके मनुष्य शनि की पीड़ा से मुक्त हो सकता है। जो लोग संस्कृत में स्तोत्र पाठ करने में असमर्थ हैं, वे हिंदी में स्तोत्र पाठ कर सकते हैं। एकाग्रता से, श्रद्धा से व पवित्रता से की गई हिंदी में स्तुति का भी वही फल प्राप्त होता है जो संस्कृत में पाठ करने से होतहोत।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।।
Opgedateer op
22 Sep. 2024