राजा होने का एहसास ही अलग है. हालांकि, यह तब तक अच्छा है, जब तक कि हर किसी की ज़रूरत पूरी करने के लिए संसाधन खत्म न हों. ऐसे में जंग की कगार पर खड़े साम्राज्य को बचाने के लिए, इस आरपीजी में अपने अंदर की शासक वाली भावनाएं परखें और फ़ैसले लें. हर दिन आपके दरबार में जनता अपनी समस्याओं को सुलझाने की गुहार लेकर आती है. क्या बचा हुआ सोना और सामान, लोगों को दिया जाएगा या उन्हें उनके हाल पर ही छोड़ा जाएगा?